युवराज हैं कि बदलते नहीं |
August 22 2016 |
राहुल गांधी की पुराने कांग्रेसी नेताओं से एकबारगी फिर से दूरियां बढ़नी षुरू हो गई हैं। 15वीं लोकसभा के वक्त राहुल संसद में अपनी युवा मंडली से घिरे रहते थे, इस मंडली में भंवर जितेंद्र सिंह, सचिन पायलट, ज्योतिरादित्य सिंधिया, जितिन प्रसाद, दीपेंद्र हुड्डा, मिलिंद देवड़ा आदि षामिल थे। 16वीं लोकसभा में राहुल मंडली के ज्यादातर पुराने सदस्य नहीं पहुंच पाए हैं, जो पहुंच पाए हैं मसलन ज्योतिरादित्य सिंधिया, गौरव गोगोई, दीपेंद्र हुड्डा राहुल पूरे समय संसद में इन्हीं से घिरे रहते हैं। वैसे तो ज्योतिरादित्य को तीसरी कतार में सीट आबंटित है, पर जब तक संसद चलती है वे राहुल के ही बगलगीर दिखते हैं, राहुल की ठीक बगल वाली सीट जिस सांसद को आबंटित है उन्हें षायद ही अपनी सीट पर कभी बैठने का मौका मिला है। कुछ पुराने कांग्रेसी दबी जुबान में बताते हैं कि राहुल के इन्हीं मित्रों ने उन्हें हमेषा मिस्गाइड किया है, राहुल मंडली न केवल पुराने नेताओं के प्रति आलोचनात्मक रवैया रखती है, अपितु वक्त-वेवक्त उनकी नकल उतार कर अपरोक्ष रूप से उनका मज़ाक भी उड़ाया करती है। राहुल मंडली राहुल के साथ ही संसद में अवतरित होती है, और राहुल के जाने के साथ यह भी नदारद हो जाती है। पिछले सत्र में एक रोज सोनिया गांधी जब भोजनावकाष के बाद 3 बजे सदन पहुंचीं तो पूरा विपक्षी बेंच खाली था, मल्लिकार्जुन खड़गे जैसे चंद पुराने कांग्रेसी ही सदन में हाजिर थे। सोनिया ने इस बात का बुरा माना, और कहते हैं इस बात का जिक्र उन्होंने राहुल से भी किया था। पर युवराज हैं कि बदलते नहीं। |
Feedback |