और अंत में |
September 25 2017 |
इस दफे जबसे राहुल गांधी अमेरिका गए हैं, वे नए रंग-रौगन में सराबोर हैं, उनका खोया आत्मविश्वास भी लौट आया है और उनके अंदर एक नई अंतदृष्टि भी विकसित हो गई हैं। आने वाले दिनों में सत्तारूढ़ दल को इस बात का अंदाजा हो जाएगा। इसकी पहली मिसाल राज्यसभा में स्थायी समितियों के अध्यक्ष की नियुक्तियों में दिख सकता है। जैसे न्याय व कानून पैनल की अध्यक्षता भाजपा कांग्रेस के बजाए अपने नए सहयोगी अन्नाद्रमुक को देना चाहती है। संसदीय कार्यमंत्री अनंत कुमार ने इस बाबत राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष गुलाम नबी आजाद से बात की पर यह बातचीत बेनतीजा रही। अनंत कुमार इस मसले पर सोनिया व राहुल से भी बात करना चाहते हैं, पर वहां से इस बाबत कोई सकारात्मक संदेश प्राप्त नहीं हुए हैं। राहुल अब कांग्रेस को एक जुझारू चेहरा देना चाहते हैं, पर इसके लिए उन्हें पहले राजनीति को पूर्णकालिक तौर पर अपनाना होगा। (एनटीआई-gossipguru.in) |
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