मीडिया फ्रेंडली होतीं बहिनजी |
February 12 2017 |
मायावती भी बदल रही हैं और इनके हाथी की दुलकी चाल भी। यूपी के पहले चरण के मतदान के कोई सप्ताह भर पूर्व बहिनजी ने लखनऊ के चार प्रमुख पत्रकारों को चाय पर बुलाया। इनमें से यूपी के एक बड़े हिंदी दैनिक के स्थानीय संपादक भी थे। चाय पर बहिनजी के साथ इनके दो खास विष्वासपात्र सतीष मिश्रा और अंबिथ राजन भी मौजूद थे। षुरूआती बातचीत के बाद बहिनजी ने मिश्रा व राजन को वहां से जाने को कहा और पत्रकारों से दोटूक पूछा, ‘आप लोग हमें इतना पीछे क्यों दिखा रहे हैं? क्या इसके पीछे अखिलेष हैं?’ पत्रकारों ने कहा कि ‘वैसे तो ऐसे निर्णय ऊपर से यानी टॉप मैनेजमेंट का होता है, फिर भी आप से इतना तो कह ही सकते हैं कि आप ना तो पत्रकारों से, ना ही मीडिया घरानों से रिष्ता बनाती हैं। न ही अपनी पार्टी का चुनावी विज्ञापन ही देती हैं, तो आपको कोई कैसे सपोर्ट करे?’ सूत्र बताते हैं कि पत्रकारों से यह ब्रह्मज्ञान प्राप्त होने के बाद बहिनजी अब राज्य के तीन बड़े समाचार पत्रों को विज्ञापन देने को तैयार हो गई हैं और वह भी पूरे-पूरे पेज का। |
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